गर्मी में जानें क्यों फूटती है बच्चो की नकसीर, साइनिस के मरीज़ कैसे रखें अपना ध्यान, ख़ास बातचीत में बोले ईएनटी रोग विशेषज्ञ
अप्रैल में गर्मी अपनी चरम सीमा पर है मौसम विभाग की जानकारी के मुताबिक अप्रैल में अभी और भी गर्मी पड़ेगी इसी के साथ में जून में गर्मी लोगों के पसीने छुड़ाने वाली है। गर्मी में चलने वाली गर्म हवाओं व लू से कई प्रकार की बीमारियां बच्चों और युवकों में देखने को मिलती हैं।गर्मी में सबसे ज्यादा समस्या डिहाईड्रेशन की होती है। तेज गर्मी में पानी की कमी लोगों को बीमार कर देती है। इसी के साथ बच्चों में नकसीर फूटने की समस्या गर्मी में अक्सर देखने को मिलती है जिन युवाओं को साइनस की समस्या है उन्हें गर्मी में काफी अतियात बरतने की जरूरत होती है। बच्चों और साइनस के मरीजों को होने वाली समस्या को लेकर हरदोई मेडिकल कॉलेज ने नाक कान गला रोग के विशेषज्ञ डॉक्टर विवेक सिंह से खास बातचीत की और बीमारी के संदर्भ में जाना और उसके बचाव की जानकारी भी ली। डॉ विवेक सिंह ने बात करते हुए बताया कि गर्मी में बच्चों में नकसीर फूटने की समस्या आम बात है इसमें घबराने की जरूरत नहीं है कुछ एहतियात बरतने से नाक से बहने वाले खून को रोका जा सकता है वही साइनस के मरीज को भी ख़ास एतियात बरतने की आवश्यकता होती है। साइनस के मरीज को धूप धूल और धुएं से बचना चाहिए।
क्या बचाव करे नकसीर फूटने पर और साइनस के मरीजो को क्या करना चाहिए
मेडिकल कॉलेज के नाक कान गला रोग विशेषज्ञ डॉक्टर विवेक सिंह ने कहा कि गर्मियों में चलने वाली गर्म हवा से हमारे शरीर में खुश्की हो जाती है।यह खुश्की हमारे नाक कान में भी देखने को मिलती है। गर्म हवाओ के चलते बच्चों के नाक में खुश्की हो जाती है। ऐसे में बच्चे अक्सर नाक में जमने वाली पपड़ी को निकालने का प्रयास करते हैं। ऐसे में नाम में होने वाली नसें काफी कमजोर होती हैं और अधिक दबाव पड़ने पर वह फूट जाती हैं जिसके चलते बच्चों के नाक से खून बहने लगता है। ऐसे में घबराने की आवश्यकता नहीं है 5 से 7 मिनट तक अंगूठे और दो उंगली से नाक को दबाकर हल्का सा आगे झुक कर बैठ जाएं।नाक को ठंडे पानी या बर्फ से सिकाई करें। नाक से खून बंद होने के बाद अपने नजदीकी डॉक्टर से परामर्श लेकर उपचार कराये। डॉ विवेक सिंह ने बताया कि नाक में खुश्की होने पर पेट्रोलियम जेली या फिर लिक्विड पैराफिन को लगाये जो की गर्मी में नाक में होने वाली खुश्की से राहत देने का कार्य करेगी। डॉक्टर विवेक सिंह ने कहा कि साइनस के मरीज को एलर्जी की समस्या जरूर होती है। गर्मियों में फूलों से निकलने वाले परागकण बड़ी मात्रा में वातावरण में फैले होते हैं। ऐसे में साइनस के मरीजों को काफी समस्याओं का सामना करना पड़ता है। साइनस के मरीज को धूप धूल और धुआँ तीनों से बचना चाहिए। साइनस के मरीजों को भी नाक में लिक्विड पैराफिन का प्रयोग करना चाहिए। समस्या अधिक होने पर नजदीकी डॉक्टर से संपर्क करें। धूप में घर से निकलते समय चेहरे को ढक ले। डॉ विवेक सिंह ने कहा कि गर्मियों में सभी को पानी का अधिक से अधिक प्रयोग करना चाहिए। पानी हमारे शरीर के तापमान को बढ़ाने से रोकता है साथ ही खुश्की को भी रोकने का कार्य करता है।