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‘सच्चा धर्म वही है जिसमें दूसरों का अहित न हो’

‘सच्चा धर्म वही है जिसमें दूसरों का अहित न हो’

श्रीराम कथा का नवम दिवस: भरत-राम मिलन के प्रसंग ने भक्ति, प्रेम और धर्म की पराकाष्ठा को किया उजागर

हरदोई । आर.आर. इंटर कॉलेज मैदान में आयोजित 11 दिवसीय श्रीराम कथा एवं पर्यावरण सुरक्षा यज्ञ महोत्सव के नवम दिवस की शुरुआत मानव कल्याण और पर्यावरण रक्षा की मंगल कामना के साथ यज्ञ में आहुतियाँ अर्पित करते हुए हुई। दिन भर की श्रद्धा, साधना और कथा श्रवण में प्रेम, भक्ति और धर्म की गहराई को अनुभूत किया गया। प्रातःकालीन यज्ञ से लेकर संध्या बेला की श्रीराम कथा तक, हर क्षण जनमानस के हृदय में आध्यात्मिक भावों की बौछार करता रहा।

संध्या बेला में जब वृंदावन धाम से पधारे प्रख्यात कथा व्यास शिवानंद जी महाराज कथा पंडाल में पहुंचे, तो श्रद्धालु भाव-विभोर हो गए। “सियाराम मय सब जग जानी…” के भाव से उन्होंने व्यासपीठ से सभी का अभिवादन स्वीकार कर कथा का शुभारंभ किया। नवम दिवस की कथा में रामजी के वनगमन के पश्चात भारत मिलाप का प्रसंग सुनाया गया। शिवानंद महाराज ने बताया कि राम-भारत मिलन भारतीय संस्कृति में प्रेम, त्याग और धर्म के अद्वितीय उदाहरण हैं। उन्होंने कहा कि धर्म का स्वरूप वही है जो लोकहित में हो। आज का समाज धर्म को अपने अनुसार परिभाषित कर रहा है, जबकि सच्चा धर्म वही है जिसमें दूसरों का अहित न हो।

कथा के दौरान उन्होंने कहा, “जब कोई अच्छा व्यक्ति अधर्म करता है तो धर्म रोता है।” उन्होंने उदाहरण देते हुए बताया कि जब राम पैदल वन गमन करते हैं और भरत को ज्ञात होता है तो वे रथ छोड़कर पैदल चल पड़ते हैं—यह है सच्चा त्याग और प्रेम। प्रयागराज पहुंचकर जब भरत जी से प्रयागराज ने कहा कि मांगो धर्म, अर्थ, काम, मोक्ष ,तो वे कहते हैं, “मुझे किसी की आवश्यकता नहीं, मैं सब कुछ त्याग कर आया हूँ।”

भावनाओं का चरमोत्कर्ष तब देखने को मिला जब व्यासपीठ से शिवानंद जी महाराज ने भावपूर्ण भजन “मैया तूने का ठानी…” सुनाया। कथा पंडाल में मौजूद हर राम भक्त की आंखें नम हो गईं। जैसे ही भजन “राम जैसा नगीना नहीं…” शुरू हुआ, सारा पंडाल राम भक्ति में झूम उठा।

महाराज श्री ने चित्रकूट के विविध प्रसंगों को भी कथा में स्थान दिया, जिससे कथा प्रेमियों को मर्यादा, करुणा और जीवन के आध्यात्मिक उद्देश्य की नई अनुभूति प्राप्त हुई। श्रीराम कथा का नवम दिवस धर्म, भक्ति और भाव की त्रिवेणी में स्नान जैसा बन गया।

प्रातः यज्ञ में आर.आर. इंटर कॉलेज की प्रबंध संचालिका कीर्ति सिंह, पत्रकार अखिलेश सिंह एवं उनकी धर्मपत्नी पूर्णिमा सिंह, राघवेंद्र शर्मा सपत्नीक, मनोज मिश्रा, आशीष गुप्ता, हिमांशु गुप्ता, सौरभ सिंह सहित श्रीराम कथा मित्र मंडली के सभी सदस्यों ने सहभागिता की। यज्ञ आहुतियाँ अखिल भारतीय श्रीराम नाम जागरण मंच के राष्ट्रीय अध्यक्ष निर्मल शास्त्री के श्रीमुख से सम्पन्न कराई गईं। शाम की आरती में माधवेंद्र  प्रताप सिंह रानू  विधायक आशीष गुप्ता, राघवेंद्र शर्मा, अपूर्व माहेश्वरी, हिमांशु गुप्ता, हिमांशु गुप्ता पेशकार आदि रहे।

सुधांशु मिश्र

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