शाहाबाद हरदोई । मीरा बस्ती स्थित तबरेज हॉस्पिटल से बच्चा बेचने का वीडियो वायरल होने के बाद स्वास्थ्य विभाग में सनसनी फैल गई। स्वास्थ्य विभाग के आला हुक्मरानों ने वीडियो वायरल होने के बाद अस्पताल में पहुंचकर अस्पताल संचालक डॉक्टर तबरेज के बयान दर्ज किये और शुक्रवार की देर रात उनको हिरासत में ले लिया गया। डाक्टर तबरेज इस समय पुलिस की हिरासत में है। शनिवार की शाम तकरीबन 6:00 बजे तबरेज हॉस्पिटल पर नोडल अधिकारी डाक्टर मनोज कुमार सिंह, सीएचसी अधीक्षक डॉक्टर प्रवीण दीक्षित एवं प्रभारी निरीक्षक राजदेव मिश्रा फोर्स बल के साथ पहुंचे और अंदर के मेडिकल स्टोर तथा दो बेड के एक कमरे को सीज कर दिया गया। जबकि बाहर के दोनों मेन गेटों को खुला छोड़ दिया गया। यह अजीबोगरीब सीज करने की करवाई चर्चा का विषय बनी हुई है। शुक्रवार को दोपहर 12:00 अस्पताल संचालक डॉक्टर तबरेज खान का बच्चा बेचने की बातचीत का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुआ। वीडियो में डॉक्टर तबरेज द्वारा हिंदू बच्चा मुस्लिम परिवार को बेचने बातचीत सामने आई थी डॉक्टर तबरेज का खुद की बातचीत का वीडियो वायरल होने के बाद स्वास्थ्य विभाग में हड़कंप मच गया। सीएचसी के अधीक्षक प्रवीण दीक्षित शुक्रवार की शाम तकरीबन 7:00 बजे तबरेज अस्पताल पहुंचे और यहां पर उन्होंने संचालक डॉक्टर तबरेज खान के बयान दर्ज किये। डॉ परवेज खान द्वारा बताया गया कि वीडियो उनका ही है लेकिन ऑडिट करके वीडियो वायरल किया गया। इसी दिन रात्रि में कोतवाली पुलिस ने उच्च अधिकारियों के निर्देश पर डॉक्टर तबरेज खान को हिरासत में ले लिया। तबरेज खान समाचार लिखे जाने तक पुलिस की हिरासत में है। शनिवार को वायरल वीडियो पर कोतवाली में प्रभारी के कार्यालय में प्रभारी निरीक्षक राजदेव मिश्रा, नोडल अधिकारी डॉक्टर मनोज कुमार सिंह, सीएचसी अधीक्षक डॉक्टर प्रवीण दीक्षित के मध्य 5 घंटे कवायद चली और शाम तकरीबन 6:00 बजे तबरेज हॉस्पिटल को सीज करने की औपचारिकता की गई। जिस समय कोतवाली पुलिस और स्वास्थ्य विभाग की टीम अस्पताल में सीज करने की कार्रवाई कर रही थी, उस समय स्थानीय पत्रकारों को गेट पर पुलिस का पहरा लगाकर रोक दिया गया। पत्रकार अंदर नहीं जा सके। बाद में सीएचसी अधीक्षक डॉक्टर डॉ प्रवीण दीक्षित ने बताया हॉस्पिटल का रजिस्ट्रेशन नहीं था, आयुर्वेदिक दवाओं के स्थान पर एलोपैथिक दवाओं का प्रयोग होना पाया गया, अस्पताल में कुछ इंजेक्शन और दवाइयां पाई गई जिन्हें सीज किया गया है। इसके अतिरिक्त मेडिकल स्टोर और दो बेड के एक कमरे को सीज किया गया। तीन कमरों को इसलिए छोड़ दिया गया कि उसमें बताया गया कि डॉक्टर का परिवार रहता है। जबकि अस्पताल के दोनों गेटों को खुला छोड़ दिया गया। स्वास्थ्य प्रशासन की यह अजीबो गरीब कार्रवाई चर्चा का विषय बनी हुई है।
बच्चा बेचने के वीडियो की अधीक्षक ने नहीं की चर्चा
सीएचसी शाहबाद के अधीक्षक डॉक्टर प्रवीण दीक्षित ने अस्पताल का पंजीयन न होने, आयुर्वेदिक दवाओं के स्थान पर एलोपैथिक दवाओं का प्रयोग करने की सारी कमियां बताई लेकिन बच्चा बेचने के वायरल वीडियो के बारे में एक शब्द नहीं बोले। इससे स्पष्ट होता है कि स्वास्थ्य विभाग की कार्रवाई में कुछ दाल में काला है।
पत्रकारों को अंदर जाने की इजाजत नहीं
सीएचसी अधीक्षक डॉक्टर प्रवीण दीक्षित जब भी किसी अस्पताल पर कार्रवाई करते हैं तो पत्रकारों को साथ में ले जाते हैं और उनके सामने कार्रवाई करते हैं, लेकिन डॉक्टर तबरेज हॉस्पिटल पर कार्रवाई के दौरान पत्रकारों को अस्पताल के अंदर प्रवेश करने की इजाजत नहीं दी गई उन्हें पुलिस का पहरा लगाकर गेट पर ही रोक दिया गया। इससे लगता है कि दाल में कुछ काला है।
मामला निपटने पर बेफिक्र था अस्पताल संचालक
तबरेज हॉस्पिटल के संचालक के अनुसार वायरल वीडियो अगस्त माह 2023 का था, और इस संबंध में सीएचसी के अधीक्षक डॉक्टर प्रवीण दीक्षित से वार्ता होने के बाद प्रकरण पूरा समाप्त हो गया था, लेकिन रंजिश वश उसका वीडियो आठ माह के बाद वायरल किया गया। इससे लगता है कि दाल में कुछ काला है।
रजिस्टर्ड नहीं है हॉस्पिटल
डॉ प्रवीण दीक्षित ने बताया कि हॉस्पिटल रजिस्टर्ड नहीं पाया गया। इससे यह सिद्ध होता है कि शाहाबाद नगर क्षेत्र में बड़ी संख्या में बिना रजिस्ट्रेशन के बड़े-बड़े नर्सिंग होम और अस्पताल संचालित किया जा रहे हैं। जबकि सीएचसी अधीक्षक लगातार यह दावा कर रहे हैं कि उनके क्षेत्र में एक भी बिना रजिस्ट्रेशन का अस्पताल संचालित नहीं है।