लखनऊ। अंततः बीजेपी हाईकमान ने बहुचर्चित रायबरेली और कैसरगंज संसदीय सीटों के लिए आज पार्टी प्रत्याशियों के नाम घोषित कर दिये। भाजपा ने उत्तर प्रदेश की दो लोकसभा सीटों के लिए प्रत्याशियों की घोषणा की। कैसरगंज के अलावा गांधी परिवार का गढ़ कहे जाने वाला रायबरेली सीट से भाजपा ने मंत्री दिनेश प्रताप सिंह पर दांव खेला है। कैसरगंज से सांसद बृजभूषण सिंह का टिकट काट दिया और उनके ही बेटे करन भूषण सिंह को मैदान में उतार दिया। वही रायबरेली से योगी सरकार के उद्यान मंत्री दिनेश प्रताप सिंह को टिकट दिया है।हुआ वही जिसका कयास लगाया जा रहा था। भाजपा ने कैसरगंज के मौजूदा सांसद मौजूदा सांसद बृजभूषण शरण सिंह का टिकट काटकर उनके बेटे करण भूषण सिंह को उम्मीदवार बनाया है। श्घी ढरका मगर थाली में ही गिराश्की कहावत यहाँ बिल्कुल सटीक बैठती है। भारतीय कुश्ती महासंघ के पूर्व प्रमुख बृज भूषण सिंह के खिलाफ कई महिला पहलवानों द्वारा यौन उत्पीड़न के आरोप लगाया था जिसको लेकर भाजपा नेता राजनीतिक रूप से काफी चर्चाओं में रहे।कभी सोनिया गांधी के करीबी रहे दिनेश प्रताप सिंह लोकसभा चुनाव 2019 में भी रायबरेली सीट से सोनिया गांधी के खिलाफ चुनाव लड़े थे। दिनेश को कांग्रेस की पूर्व अध्यक्ष के हाथों करारी हार का सामना करना पड़ा था।मौजूदा वक्त में दिनेश प्रताप सिंह योगी सरकार में मंत्री हैं।बताया जा रहा है कि महिला पहलवानों के द्वारा बृजभूषण शरण सिंह पर लगे आरोपों के कारण बीजेपी उनको फिर से टिकट देने में कतरा रही थी। यही कारण है कि बीजेपी हाईकमान ने काफी मंथन करने के बाद उनके बेटे करण सिंह को टिकट देना ज्यादा सही समझा।भाजपा उम्मीदवार करण सिंह बृजभूषण सिंह के तीसरे बेटे हैं।13 दिसंबर 1990 को जन्मे करण ने डबल ट्रैप शूटिंग में नेशनल लेवल पर कॉम्पिटिशन मे हिस्सा लिया है। करण भूषण ने डॉ. राम मनोहर लोहिया अवध यूनिवर्सिटी से बैचलर ऑफ बिजनेस एडमिनिस्ट्रेशन और कानून की पढ़ाई पूरी की। उन्होंने ऑस्ट्रेलिया में बिजनेस मैनेजमेंट में डिप्लोमा भी किया है। करण भूषण सिंह मौजूदा वक्त में उत्तर प्रदेश कुश्ती संघ के अध्यक्ष हैं।बृजभूषण शरण सिंह कैसरगंज सीट से लगातार तीन बार चुनाव जीते हैं। उन्होंने पिछले आम चुनाव 2019 में दो लाख से ज्यादा वोटों से जीत दर्ज की थी। कैसरगंज में लोकसभा चुनाव के पांचवें फेज में 20 मई को मतदान होगा। उधर रायबरेली से टिकट मिलते ही दिनेश प्रताप सिंह की पहली प्रतिक्रिया सामने आई है। उन्होंने कहा है कि रायबरेली से नकली गांधियों की विदाई तय है।उन्होंने कहा,रायबरेली के कार्यकर्ताओं की आवाज राष्ट्रीय नेतृत्व ने सुनी है। मैं आपकी कसौटी पर खड़ा उतरूंगा। रायबरेली में कमल खिलाएंगे। मैं गांव का आदमी हूं, कैसे चुनाव लड़ा जाता है, कैसे लोगों की सेवा की जाती है, किसी दुख और सुख में शामिल होते हैं, मैं जानता हूं। मैंने गांधी परिवार में जन्म नहीं लिया है। मैंने सोने के चम्मच से चांदी की थाली में खाना नहीं खाया है।गरीब का दर्द कैसे बांटा जा सकता है, रायबरेली के लोगों की कसौटी पर खरा उतरना मैं जानता हूं। बीजेपी कार्यकर्ता कमल खिलाने के लिए आतुर हैं। रायबरेली से नकली गांधियों की विदाई तय है। कांग्रेस पत्ते खोले न खोले, कमल खिलना तय है। कांग्रेस का जो भी आयेगा, हारेगा। प्रियंका गांधी की मां से मैं चुनाव लड़ चुका हूं। मेरे लिए प्रियंका गांधी महत्वपूर्ण नहीं हैं। कोई गांधी आए, रायबरेली में हारकर जाएगा।
कैसरगंज से कटा बृजभूषण का टिकट, बेटे करन भूषण को बनाया प्रत्याशी
